बड़ी खबरमध्य प्रदेशसिंगरौली
पुष्पेन्द्र की हुई थी हत्या पुरानी रंजीश एवं अशनाई के फेर में

सरई पुलिस ने 64 दिनों बाद अंधीहत्या गुत्थी का सुलझाने किया दावा, चार आरोपियों ने घटना को दिया था अंजाम, प्रयुक्त सामग्री भी बरामद
पोल खोल सिंगरौली
सरई थाना क्षेत्र के ग्राम गोरा निवासी मृतक पुष्पेन्द कुमार साहू की हुई अंधीहत्या गुत्थी को पुलिस ने करीब 64 दिनों बाद सुलझा लेने का दावा करते हुये आरोपियों को गिरफ्तार करने में सफल रही है। एसपी मनीष खत्री ने इसकी जानकारी आज मीडिया कर्मियों के समक्ष साझा किया। इस दौरान एएसपी, एसडीओपी देवसर-चितरंगी, सरई टीआई जितेन्द्र सिंह भदौरिया भी मौजूद रहे।
गौरतलब है कि ग्राम गोरा निवासी पुष्पेन्द्र कुमार साहू 6 जुलाई की रात करीब 9:30 बजे घर से खाना खाकर अपनी पाही सोने चला गया। वहां हमेशा पुष्पेन्द्र सोने जाता था। दूसरे दिन पुष्पेन्द्र घर वापस नही आया और मोबाईल भी स्वीचऑफ था। परिजन तलाश के बाद गुमशुदगी की रिपोर्ट सरई थाने में दर्ज कराया।
जहां 19 जुलाई को पुष्पेन्द्र का शव करीब 4 किलोमीटर दूर गोरा जंगल के खरहरी नाला में एक नर कंकाल मिला। जिसका डीएनए परीक्षण भी कराया गया। 5 सितम्बर को डीएनए टेस्ट के रिपोर्ट में पुष्टि हुई कि मानव कंकाल लापता पुष्पेन्द्र कुमार साहू की है। पुलिस ने अज्ञात आरोपियों के विरूद्ध हत्या की धारा 103(1) 238 बीएनएस के तहत अपराध पंजीबद्ध कर आरोपियों के तलाश में जुट गई।
एसपी ने मीडिया कर्मियों को बताया कि अंधी हत्या के गुत्थी को सुलझाने के लिए एसआईटी टीम गठित की गई। जहां विवेचना के दौरान शक की सुई रावेन्द्र साहू व धीरज साहू पर घुमने लगी। पुलिस के अनुसार अभियुक्त रावेन्द्र साहू निवासी गोरा मृतक पुष्पेन्द्र साहू के घर की महिला के साथ प्रेम प्रसंग था। जिस कारण पूर्व में दोनों के मध्य विवाद की स्थिति निर्मित हुई थी। आरोपी रावेन्द्र मृतक से रंजीश रखता था।
वहीं दूसरी ओर मृतक के मामा की बेटी के आत्महत्या के दुष्प्रेरण के मामले में रामकुमार एवं विजय साहू अभियुक्त थे। रामकुमार एवं विजय साहू का मानना था कि मृतक पुष्पेन्द्र अपने मामा के उक्त केस में मदद करता था। इस कारण रामकुमार एवं विजय भी पुष्पेन्द्र से रंजीश रखते थे। साथ ही आरोपी धीरज साहू के घर की महिला से मृतक पुष्पेन्द्र पूर्व में बातचीत करता था। समझाने पर वह मानता नही था। जिस कारण आरोपी धीरज भी रंजीश रखता था।
आरोपी ने ऐसे दिया घटना को दिया अंजाम
एसडीओपी देवसर गायत्री तिवारी एवं सरई टीआई जितेन्द्र सिंह भदौरिया के अनुसार विवेचना के दौरान आरोपी रावेन्द्र साहू एवं धीरज साहू से पूछतांछ के दौरान पता चला कि पुष्पेन्द्र की हत्या का योजना एक महीने पहले से ही बनाये थे और मौके की तलाश में थे। 6 जुलाई की रात में जैसे ही पुष्पेन्द्र साहू अपने मोटरसाइकिल से पाही वाले घर के पास आया।
घर के पास छीपे उक्त चारो आरोपी मृतक के साथ मारपीट कर गर्दन में गमछा लपेटते हुये खींच दिये थे, जिससे उसकी मौत हो गई। इसके बाद आरोपी रावेन्द्र साहू, विजय साहू एवं रामकुमार साहू ने लाश को गोरा के जंगल खरहरी नाला के तरफ ले जाकर नाला के किनारे गड्ढा खोद कर गाड़ दिया। आगे बताया कि धीरज साहू ने पुष्पेन्द्र के मोबाईल को घटना स्थल से करीब 200 मीटर दूर पर सरई के पेड़ के नीचे चप्पल को पुराने ईट भ_ा पर छुपा दिया था।
आरोपियों के कब्जे से प्रयुक्त सामग्री जप्त
सरई पुलिस ने दावा किया है कि आरोपी रावेन्द्र साहू पिता स्व. सुमारू साहू , धीरज कुमार साहू पिता धनेश साहू, रामकुमार साहू पिता रामकरण साहू व विजय साहू पिता दीनानाथ साहू सभी निवासी ग्राम गोरा के हैं। रामकुमार साहू व विजय साहू 29 अगस्त को विंध्यनगर थाना क्षेत्र के एक अपराध में पचौर जेल में निरूद्ध हैं। आरोपियों के कब्जे से अपराध में प्रयुक्त सामग्री गमछा, मोटरसाइकिल, फावड़ा, 3 मोबाइल फोन बरामद हुआ।













