लोक कल्याण का माध्यम- सीएम योगी बाबा कीनाराम की सिद्धियां बनीं
सोनभद्र। बाबा पिछले वर्ष रामगढ़ नहीं थे इसलिए उन्होंने निश्चय किया कि इस वर्ष में तीनों दिन रामगढ़ में रहूंगा। क्योंकि हजारों भक्त पिछले वर्ष भूखे रह गए दर्शन के भाव में इसलिए इस वर्ष इन्होंने भक्तों के लिए संपूर्ण समय दिया और सच्चाई यह है कि देश का कोई भी व्यक्तित्व जो है संत कीनाराम के प्रति आस्था रखता है मैं उसे उदास नहीं होने दूंगा।
संस्थापक के रूप में डॉक्टर गया सिंह ने कहा कि जब तक की पूजा बाबा सिद्धार्थ गौतम किनाराम एक सच्चाई है दुनिया जानती हो ना जानती हो ब्रह्मा, विष्णु खड़े हो जाए तो डॉक्टर गया सिंह किसी को स्वीकार करने को तैयार नहीं होंगे तो उसका पालन करने के लिए मैं संपूर्ण रूप से कर्म के रूप में समर्पित रहूंगा।
बहुतों को यह नहीं मालूम होगा की पूजा सिद्धार्थ गौतम राम के कारण भी ऐसा हुआ क्योंकि उन्होंने यह कहा था कि आप एक दिन के लिए जाइए जबकि उसके पहले मैं डॉक्टर प्रभु सिंह राय से जमीन लेकर के मैं पड़ाव से रामगढ़ के बीच पड़ाव से रामनगर के बीच में खोलना चाहता था मैं कॉलेज मगर मुझे पढ़ाओ के एक व्यक्ति सूचित किया क्या रामनगर का पानी नहीं पीता और आप बाबा के नाम पर जमीन लेकर और आप कॉलेज खोलने की बाबा के नाम पर मुझे क्या करना चाहिए मुझे यह कहा गया कि आप सीधे जो है
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आयोजित किया गया ग्राम चौपाल 12 विकास खंडों के 24 ग्राम पंचायतो में
वह जाने के लिए मैं कहां जाऊं तो मैं अपने गुरुदेव डॉक्टर श्यामचंद शुक्ला कहां गया वह मैंने उनको सारी बातें बताया कि मैं कहां जाऊं क्योंकि मेरा संकल्प है की जमीन प्रथम जमीन मैदान मिलेगा और सारी बात होने की बात वहां बैठा हुआ एक व्यक्ति मुझसे कहा कि चलिए मैं आपको जमीन दिलवाता हूं बिना पैसे के हमने कहा आपका परिचय उसे वक्त ने कहा कि विधायक उन्होंने यह कहा मैं पंडित अमरनाथ तिवारी जमीदार हुआ करते थे
वह उन्होंने जमीदारी खत्म होने के बाद वह अपनी जमीन गरीबों में बांटने लगे वह महात्मा गांधी के अनुयाई हुआ करते थे और जीवन भर जब तक वह जिंदा थे वह लालटेन में ही रह गए और जीवन भर उन्होंने पंखा नहीं लगाया वह हाथ के पंखे से वह हवा लेते रहे और कच्चे घर कच्ची दीवार कच्चे धागे उनको मैं चढ़ के मानता था अमरनाथ तिवारी नहीं हुआ करता मैं कहना नहीं चाहता मगर यह सच्चाई है कि मध्य प्रदेश से आए कुछ लोग पंडित अमरनाथ तिवारी के चरणों में गए पंडित अमरनाथ तिवारी ने उन्हें पूर्व में बसाया जो लोग उत्तर प्रदेश में आकर अनुसूचित जाति के बन गए।
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बालाघाट पहुंचें पहली बार प्रभारी मंत्री उदय प्रताप सिंह
सूबे के मुखिया एवं नाथ परंपरा के पीठ के योगी आदित्यनाथ को अघोर पंथ के महान संत बाबा कीनाराम की 425 वें जन्मोत्सव समारोह में शिरकत करने रामगढ़ स्थित कीनाराम आश्रम में पहुंचे।
भक्तों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्हें आज सोनभद्र जाना था लेकिन यह बाबा की कृपा थी कि उन्होंने अपने यहां बुला लिया। बाबा की महिमा का बखान करते हुए सीएम योगी ने कहा कि बाबा ने अपनी सीद्धियों का प्रयोग समाज के कल्याण और लोक कल्याण के लिए किया था। उनके नाम पर चंदौली में बना मेडिकल कॉलेज लोक कल्याण का साधन बनेगा।
कहा कि बाबा ने मुगल आक्रांताओं को फटकार लगाकर भगा दिया था, जो साबित करता है कि एक संत और योगी सत्ता का गुलाम नही होता, बल्कि वह सत्ता को उनके विचारों पर चलने के लिए मजबूर करता है। बाबा कीनाराम ने काशी के क्रीं कुंड को पवित्रता दी वे जन्म से ही विभूति थे। उन्होंने दलित वनवासी जनजाति समुदाय को सशक्त किया। बाबा के समाज सुधार की सोच को अघोर पीठ आगे बढ़ा रहा है। कहा कि राष्ट्र प्रथम के नाम पर हमारी सोच होनी चाहिए तभी बाबा का आशीर्वाद मिल सकता है। उन्होंने बाबा की 425 में जयंती पर सभी को शुभकामनाएं प्रेषित की।
इस दौरान सर्व संप्रदाय के अघोर पंथ के पीठाधीश्वर सिद्धार्थ और राम गौतम, डा. गया सिंह, अजीत सिंह, पूर्व मंत्री महेंद्र नाथ पांडे, सूर्य मुनि तिवारी, डा. गोपाल सिंह आदि सैकड़ों लोग मौजूद थे।