नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने नीट-यूजी 2024 परीक्षा रद्द करने से इनकार कर दिया है। इस फैसले पर राज्यसभा सांसद व वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि एनडीए को पूरी तरह से बदलने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि सरकार मौजूदा सिस्टम के तहत इतनी बड़ी परीक्षा आयोजित नहीं करा सकती है। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने माना है कि पेपर लीक हुआ है। सिब्बल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने आईआईटी दिल्ली से मामले की जांच करने को कहा है कि इन मुद्दों से कैसे निपटा जाए।
कोर्ट ने इसके सबूत मांगे हैं कि पेपर किस हद तक लीक हुआ था। सिब्बल ने कहा सवाल यह है कि इस सरकार में हर परीक्षा में पेपर लीक क्यों होता है। उन्होंने कहा कि इसमें कौन शामिल है और पेपर लीक किसके फायदे के लिए हो रहा है। बिना योग्यता वाले लोग कौन हैं जिन्हें नौकरी मिली। एनटीए को पूरी तरह से बदलने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि हाल ही में हमने एक आईएएस अधिकारी को झूठे जाति प्रमाण पत्र के आधार पर सेवाओं में आते देखा है।
उन्होंने कहा कि आपको इस बीमारी से निपटना है। सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार नीट-यूजी 2024 की उन याचिकाओं को खारिज कर दिया जिनमें विवादों से घिरी इस परीक्षा को रद्द कर दोबारा परीक्षा कराने की मांग की गई थी। इसके साथ ही कोर्ट ने कहा कि इसकी विश्वसनीयता के व्यवस्थित तरीके से प्रभावित होने और अन्य गड़बड़ियों को दर्शाने वाली कोई सामग्री रिकॉर्ड में नहीं है। कोर्ट का यह अंतरिम फैसला है और बाद में विस्तृत फैसला सुनाया जाएगा।